– राजस्थान में 1500 से ज्यादा इलेक्ट्रिक चाक बांटे गए

जयपुर/ ‘कुल्हड़ चाय’ की सोंधी खुशबू जल्द ही जयपुर, जोधपुर, बीकानेर अजमेर,ब्यावर,भीलवाड़ा,कोटा, समेत प्रदेश के 21 रेलवे स्टेशनों पर पहुंचने वाली है। राजस्थान के 1500 से ज्यादा कुम्हारों को इलेक्ट्रिक चाक भी बांटे गए हैं। केंद्रीय खादी एवं ग्रामोद्योग आयोग (केवीआईसी) के अध्यक्ष वी.के. सक्सेना ने बताया कि कुम्हार समुदाय को सशक्त बनाने के लिए पिछले साल कुम्हार सशक्तिकरण योजना शुरू की थी।

देशभर में रोज करीब 2 करोड़ कुल्हड़ बनेंगे…

केवीआईसी ने अकेले राजस्थान में वर्ष 2018 से लेकर अब तक 1500 से भी अधिक इलेक्ट्रिक चाक वितरित किए हैं।
केंद्रीय खादी एवं ग्रामोद्योग आयोग ने ‘कुम्हार सशक्तिकरण योजना’ के तहत अब तक लगभग 6000 कुम्हारों को आजीविका प्रदान की है।
पत्थरों के पुराने चाकों के स्थान पर 10,000 इलेक्ट्रिक चाकों का वितरण किया था ताकि कम समय में ज्यादा कुल्हड़ बन सकें।
400 रेलवे स्टेशनों की जरूरतों की पूर्ति के लिए केवीआईसी ने इस वर्ष देश भर में 30,000 इलेक्ट्रिक चाक वितरित करने की योजना बनाई है। इनसे प्रति दिन 2 करोड़ कुल्हड़ तैयार किए जाएंगे। ट्रैवल एवं पर्यटन उद्योग को अनूठे भारतीय स्वाद का आनंद भी मिलेगा।’

वाराणसी-रायबरेली स्टेशन से पायलट प्रोजेक्ट की शुरुआत*

केन्द्रीय एमएसएमई (सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम) मंत्री नितिन गडकरी के अनुरोध पर केंद्रीय रेल मंत्री पीयूष गोयल ने रेलवे बोर्ड को इस संबंध में निर्देश जारी करने का आदेश दिया था। प्लास्टिक के बर्तनों के स्थान पर कुल्हड़ और मिट्टी के अन्य बर्तनों का उपयोग करने के लिए एक पायलट परियोजना के तहत वाराणसी और रायबरेली रेलवे स्टेशनों को चुना गया। संबंधित डीआरएम की ओर से पेश 6 माह की रिपोर्ट अत्यंत उत्साहवर्धक पाई गई है।