जयपुर। राजधानी जयपुर के नगर निगम ग्रेटर से भारतीय जनता पार्टी ने सौम्या गुर्जर को महापौर प्रत्याशी बनाया है। कांग्रेस पार्टी की तरफ से दिव्या सिंह गुर्जर को उम्मीदवार बनाया गया है।

दूसरी तरफ जयपुर हेरिटेज से कांग्रेस पार्टी ने मनीष गुर्जर को महापौर प्रत्याशी बनाया है। भारतीय जनता पार्टी की तरफ से निर्दलीय कुसुम यादव को बनाया गया है।

–जयपुर नगर निगम ग्रेटर से भाजपा से सौम्या गुर्जर कांग्रेस से दिव्या सिंह गुर्जर को बनाया प्रत्याशी

राजधानी जयपुर के नगर निगम ग्रेटर से भारतीय जनता पार्टी ने सौम्या गुर्जर को महापौर प्रत्याशी बनाया है। कांग्रेस पार्टी की तरफ से दिव्या सिंह गुर्जर को उम्मीदवार बनाया गया है।

दूसरी तरफ जयपुर हेरिटेज से कांग्रेस पार्टी ने मनीष गुर्जर को महापौर प्रत्याशी बनाया है। भारतीय जनता पार्टी की तरफ से निर्दलीय कुसुम यादव को बनाया गया है।

जयपुर हेरिटेज में 100 वार्ड हैं, जबकि जयपुर ग्रेटर में 150 वार्ड हैं। जयपुर हेरिटेज में कांग्रेस के 47 पार्षद हैं, जबकि भाजपा के 42 पार्षद जीत कर आए हैं। इसी तरह से जयपुर ग्रेटर में भाजपा के 86 पार्षद जीतने में कामयाब हुए हैं। दोनों जगह में एक जगह भाजपा और एक जगह कांग्रेस का महापौर बनने की पूरी संभावना है।

सौम्या गुर्जर के नाम की घोषणा होने के साथ ही पार्टी में भी बगावत की संभावना तेज हो गई है, क्योंकि सौम्या गुर्जर के पति राजाराम गुर्जर करौली नगर परिषद के सभापति रहते हुए उनके ऊपर कई आरोप लगे थे। भू कारोबार से जुड़ी हुई सौम्या गुर्जर को लेकर पार्टी में एक राय नहीं बनी है।

करौली नगर परिषद के सभापति रहते हुए सौम्या गुर्जर के प्रति राजाराम गुर्जर पर जमीन कारोबार से लेकर अवैध आवंटन के कई आरोप लगे थे, जिसके बाद भारतीय जनता पार्टी को बचाव की मुद्रा में आना पड़ा था। हालांकि, बताया जा रहा है कि सौम्या गुर्जर को उम्मीदवार बनाए जाने के पीछे सबसे बड़ा कारण पैसे का लेन देन है।

गौरतलब है कि मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे के 2013 से 2018 के कार्यकाल के दौरान महिला आयोग की सदस्य रही सौम्या गुर्जर को तब इस्तीफा देना पड़ा था, जब एक रेप पीड़िता के साथ उन्होंने सेल्फी लेकर सोशल मीडिया पर डाल दी थी।

भाजपा की तरफ से निर्दलीय पार्षद कुसुम यादव को जयपुर हेरिटेज महापौर का प्रत्याशी बनाया गया है। कांग्रेस पार्टी की तरफ से यहां पर मुनेश गुर्जर को प्रत्याशी बनाया गया है।

सचिन पायलट विवाद के बाद जहां कांग्रेस पार्टी दोनों ही निगमों में अपने उम्मीदवार गुजर समाज से आने वाली महिलाओं को बना कर दामन बचाने की फिराक में है, तो दूसरी तरफ भारतीय जनता पार्टी की तरफ से भी गुजर समाज को अपनी तरफ आकर्षित करने के लिए सौम्या गुर्जर को आगे बढ़ाया गया है।