– झुग्गियों-ढाणियों में लगेंगे टीकाकरण बूथ

– वंचित बच्चों व गर्भवतियों की 12 जानलेवा बीमारियों से होगी प्रतिरक्षा

बीकानेर । सघन मिशन इंद्रधनुष 3 का पहला चरण सोमवार से शुरू होगा। इस अभियान में नियमित टीकाकरण से वंचित रहे बच्चों और गर्भवती महिलाओं को 12 जानलेवा बीमारियों से बचाने टीके निशुल्क लगाए जाएंगे। मिशन का दूसरा चरण अगले महीने की 22 तारीख से शुरू होगा। दोनों ही चरण 15-15 दिनों के लिए संचालित होंगे।इसके लिए उन स्थानों पर टीकाकरण बूथ लगाए जाएंगे जहां सामान्यतया नहीं लगते। सीएमएचओ डॉ सुकुमार कश्यप ने बताया कि प्रदेश के 23 जिलों सहित बीकानेर में चयनित 66 ग्राम, ढाणियों, शहरी क्षेत्रों व झुग्गियों में टीकाकरण सत्र आयोजित किए जाएंगे। जिले में एकमात्र लूणकरणसर खंड को छोड़कर सभी खंडों व शहरी क्षेत्रों बीकानेर शहरी क्षेत्र में टीकाकरण सत्र लगाए जाएंगे। उन्होंने बताया कि बीकानेर शहरी क्षेत्र में 16, बीकानेर ग्रामीण क्षेत्र में 6, श्री डूंगरगढ़ में 6, कोलायत में 9, नोखा में 13 व खाजूवाला में 16 बूथ लगाए जाएंगे।
आरसीएचओ डॉ राजेश कुमार गुप्ता ने बताया कि अभियान में 2 वर्ष तक के बच्चों व गर्भवतीयों का टीकाकरण किया जाएगा। गर्भवती महिलाओं को टीडी के दो टीके 1 माह के अंतराल से अथवा एक बूस्टर डोज लगाई जाती है। बच्चों को जन्म के साथ बीसीजी पोलियो व हेपेटाइटिस बी के टीके लगाए जाते हैं। बच्चों का 5 साल में 7 बार टीकाकरण होता है। लेकिन इनमें से कुछ बच्चे लेफ्ट आउट व कुछ बच्चे ड्रॉपआउट रह जाते हैं यानि कि कुछ का टीकाकरण शुरू ही नहीं होता हो पाता और कुछ का अधूरा टीकाकरण हो पाता है। मिशन इंद्रधनुष अभियान “जब जागो तब सवेरा” के फलसफे पर चलता है। अभियान द्वारा उन्हें वे टीके के लगाए जाते हैं जो उनकी उम्र अनुसार लगाए जा सकते हैं। जैसे बीसीजी का टीका वैसे तो जन्म के समय ही लगाया जाता है लेकिन यदि किसी बच्चे को न लग पाए तो 1 साल के अंदर कभी भी लगाया जा सकता है। अभियान में पहुंचने वाले बच्चों को एक साथ कई टीके लगाए जाएंगे ताकि पीछे हुई देरी को सुधारा जा सके।

3 हजार का टीका भी निःशुल्क

विश्व स्वास्थ्य संगठन के डॉ अनुरोध तिवारी ने बताया कि निमोनिया बाल मृत्यु का बड़ा कारण है और इससे बचाने वाला पीसीवी (न्यूमोकोकल) टीका नियमित टीकाकरण में लगाया जाता है। लगभग 3 हजार रूपए प्रति डोज से अधिक कीमत वाला ये टीका भी सरकार द्वारा निःशुल्क कर दिया गया है। इसी प्रकार महंगे रोटा वायरस व मीजल्स-रुबैला जैसे वीआईपी टीके भी बिलकुल निःशुल्क लगाए जा रहे हैं। जरुरत है कि आमजन इनकी अहमियत समझे। सरकार द्वारा उपलब्ध करवाए जाने वाले टीकों की गुणवत्ता सर्वश्रेष्ठ रहती है। इ-विन कार्यक्रम के माध्यम से कोल्ड चैन का बेहतरीन प्रबंधन किया जाता है जिससे टीकों के खराब होने की गुंजाइश नहीं रहती।