ग्रामीणों के दुःख-दर्द में सरकार सदैव साथ रहेगी : रिणवा
ग्रामीणों के दुःख-दर्द में सरकार सदैव साथ रहेगी : रिणवा
ग्रामीणों के दुःख-दर्द में सरकार सदैव साथ रहेगी : रिणवा

बीकानेर । वन, पर्यावरण एवं खान राज्यमंत्री तथा जिले के प्रभारी मंत्राी राज कुमार रिणवा ने कहा कि ग्रामीणों के दुःख-दर्द में सरकार सदैव उनके साथ है। ओलावृष्टि और चक्रवात के कारण पहली बार विधानसभा दो दिनों के लिए स्थगित की गई है तथा मंत्राी, विधायक एवं अन्य जनप्रतिनिधि ग्रामीणों के बीच पहुंचकर स्थिति का जायजा ले रहे हैं। उन्होंने कहा कि राज्य भर में नुकसान का सर्वे करवाया जा रहा है तथा इसके आधार पर किसानों को हरसंभव मदद उपलब्ध करवाई जाएगी।

रिणवा बुधवार को श्रीडूंगरगढ़ पंचायत समिति के बिग्गा बास रामसर, बिग्गा, धीरदेसर, चोटियान और कितासर में ओलावृष्टि और चक्रवात से प्रभावित ग्रामीणों से बातचीत कर रहे थे। उन्होंने कहा कि बिग्गा बास रामसर में रविवार को आए चक्रवात के कारण बड़ा नुकसान हुआ है। अनेक पक्के और कच्चे मकान क्षतिग्रस्त हुए हैं। पशुओं एवं पक्षियों को नुकसान पहुंचा है। जीएसएस टूटने से विद्युत सप्लाई प्रभावित हुई है और बड़ी मात्रा में फसलें प्रभावित हुई हैं। उन्होंने कहा कि प्रकृति के कहर के इस दौर में सरकार ग्रामीणों और किसानों के साथ है। सरकार उन्हें हरसंभव मदद उपलब्ध करवाएगी। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्राी ने घटना के तुरंत बाद मुख्य सचिव के साथ वीडियो कांफ्रेंस के माध्यम से सभी जिला कलक्टर्स को ओलावृष्टि प्रभावित क्षेत्रों में प्रभावी व्यवस्थाएं करने के लिए निर्देशित कर दिया था।
प्रभारी मंत्राी ने कहा कि राजस्थान के इतिहास में पहली बार विधानसभा के प्रश्नकाल को दो घंटे के लिए स्थगित किया गया तथा इस दौरान मंत्रियों और विधायकों ने ओलावृष्टि को लेकर अपने-अपने क्षेत्रा की समस्याएं बताईं। इसे ध्यान रखते हुए विधानसभा को दो दिन के लिए स्थगित किया गया है तथा सभी मंत्रियों और विधायकों को अपने क्षेत्रा में जाने और नुकसान का सही-सही आकलन करने के लिए निर्देशित किया गया है। इसकी अनुपालना में 17 और 18 मार्च को सभी विधायकों ने ओलावृष्टि के बाद की स्थिति का जायजा लिया। उन्होंने कहा कि इसके आधार पर रिपोर्ट तैयार की जाएगी तथा यह रिपोर्ट राज्य सरकार को प्रस्तुत की जाएगी।
विशेष पैकेज के करेंगे प्रयास
रिणवा ने कहा कि कि राजस्व विभाग की टीम द्वारा पूर्ण गंभीरता से नुकसान कर सर्वे किया जाए। यह ध्यान रखें कि कोई भी प्रभावित व्यक्ति सर्वे से न छूटे। सरकार द्वारा निर्धारित फॉर्मेट में नुकसान की सही-सही जानकारी संकलित की जाए। उन्होंने कहा कि बिग्गा बास रामसरा में चक्रवात से हुए नुकसान की रिपोर्ट के साथ वे मुख्यमंत्राी से व्यक्तिगत रूप से मिलेंगे तथा इसके लिए विशेष पैकेज स्वीकृति के प्रयास किए जाएंगे। उन्होंने मेडिकल और पशुपालन विभाग की टीम को आगामी निर्देशों तक वहीं तैनात रखने के लिए कहा। उन्होंने टूटे हुए जीएसएस का अवलोकन भी किया तथा विद्युत निगम के अधिशाषी अभियंता को विद्युत की वैकल्पिक व्यवस्था करने के लिए निर्देशित किया।
राम रूठ्यौ पण राज सागै रैवैला
प्रभारी मंत्राी पांचों गांवों में ग्रामीणों से रू-ब-रू हुए। उन्होंने कहा कि प्रकृति के आगे किसी की नहीं चलती। ओलावृष्टि के कारण फसलों को भारी क्षति पहुंची है। उन्होंने ग्रामीणों से ‘मारवाड़ी’ में बात करते हुए कहा कि ‘राम रूठ्यौ है पण राज थांरै सागै रैवैला’। उन्होंने कहा कि जिला कलक्टर के नेतृत्व में विभिन्न विभागों के अधिकारी रविवार शाम से ही गांव में हैं। प्रशासन द्वारा ग्रामीणों को तत्काल आवश्यक सहायता उपलब्ध करवाई गई है। उन्होंने बिग्गा बास रामसरा में बुरी तरह से क्षतिग्रस्त बीस मकानों का घर-घर पहुंचकर अवलोकन किया तथा स्थानीय लोगों को ढाढस बंधाया।
रेतीले धोरों के बीच पहुंचे मंत्री
दौरे के दौरान प्रभारी मंत्राी ने धीरदेसर और कितासर के रेतीले धोरों के बीच पहुचकर फसलों की स्थिति का जायजा लिया। उन्होंने चना, सरसों और इसबगोल की स्थिति को देखा। एक गांव से दूसरे गांव के बीच में आने वाले अनेक खेतों में फसलों की स्थिति का जायजा लेने के लिए उन्होंने अपने काफिले को कईं बार रूकवाया और किसानों से बातचीत करते हुए सरकार की ओर से प्रभावी मदद का भरोसा दिलाया।
दो सौ घर हुए प्रभावित
रविवार को रामसरा में आए चक्रवात के कारण बीस पक्के मकान मिट्टी के ढेर में बदल गए। पचास से अधिक मकानों को भारी नुकसान हुआ। अनेक बकरियां, मुर्गियां और अन्य पक्षी चक्रवात की भेंट चढ़कर लापता हो गए। एक मकान के आगे बनी मनिहारी की दुकान ढह गई। एक मोटर साइकिल मलबे में ढेर हो गई। विद्युत पोल गिर गए। प्रकृति का रौद्र रूप देखकर प्रभारी मंत्राी स्तब्ध रह गए। उनके कीचड़ भरी गलियों के बीच पैदल चलकर अनेक स्थानों पर हकीकत का जायजा लिया।
तहसीलदार करेंगे गिरदावरी का सत्यापन
जिला कलक्टर आरती डोगरा ने इस अवसर पर कहा कि रविवार शाम चक्रवात की सूचना के बाद ही पंद्रह पटवारियों की टीम को गिरदावरी के लिए तैनात कर दिया गया है तथा यह कार्य पूर्णता की ओर है। उन्होंने कहा कि पटवारियों द्वारा दी गई रिपोर्ट का तहसीलदार द्वारा सत्यापन किया जाएगा। इसके बाद ही सरकार को फाइनल रिपोर्ट दी जाएगी। उन्होंने बताया कि प्रशासन द्वारा स्थानीय दानदाताओं के सहयोग से अब तक 85 तिरपाल, सौ क्विंटल गेहूं तथा एक-एक हजार रूपये की आर्थिक सहायता तत्काल उपलब्ध करवाई गई है। उन्होंने कहा कि ब्लॉक सीएमएचओ के नेतृत्व में मेडिकल टीम को गांव में तैनात किया गया है तथा यह पूरी स्थिति पर नजर रखे हुए है। उन्होंने विश्वास दिलाया कि जिला प्रशासन की ओर से ग्रामीणों किसी प्रकार की परेशानी नहीं आने दी जाएगी।
इस अवसर पर उपखण्ड अधिकारी दूलीचंद मीणा, विकास अधिकारी, तहसीलदार और अन्य अधिकारी साथ रहे।