– पुलिस पहुंची तो सामने आया यह मामला
– हरियाणा के बाबा के साथ आंवलखेड़ा में ठहरी थी जर्मनी की युवती, जर्मनी में रहने वाली मित्र ने परिचित युवक को दी जानकारी, पुलिस से मांगी थी मदद
आगरा।आगरा के थाना बरहन क्षेत्र के आंवलखेड़ा में जर्मनी की एक युवती हरियाणा के बाबा के साथ ठहरी थी। उसके वीजा की अविध भी समाप्त हो गई थी। युवती ने फोन कर जर्मनी निवासी अपनी मित्र से मदद मांगी थी। उसकी मित्र ने अपने परिचित को आगरा में कॉल किया। इसके बाद परिचित युवक ने पुलिस को जानकारी दी। इस पर युवती को ढूंढ लिया गया। वह साध्वी के कपड़े पहने हुए थी। पुलिस ने युवती को दिल्ली स्थित दूतावास भेजा है।
जंगजीत नगर निवासी विनय शर्मा ने सोमवार रात को एसएसपी ऑफिस में कॉल किया। उन्होंने बताया कि जर्मनी से उनकी एक परिचित का कॉल आया है। उन्होंने बताया कि उसकी मित्र युवती आंवलखेड़ा क्षेत्र में ठहरी है। वह किसी मुसीबत में है। उसका कॉल रिसीव नहीं हो रहा है। उसके साथ एक व्यक्ति भी था। वह भी फोन नहीं उठा रहा है। इस पर थाना बरहन के प्रभारी कुलदीप दीक्षित को रात एक बजे सूचना दी गई। उन्होंने युवती की तलाश शुरू की।
पुलिस ने युवती के मोबाइल पर कॉल किया, लेकिन रिसीव नहीं हुआ। मंगलवार की सुबह एक मोबाइल नंबर पर कॉल रिसीव हो गई। कॉल रिसीव करने वाले ने बताया कि वह आंवलखेड़ा स्थित विक्रांत एकेडमी में हैं। इस पर थाना प्रभारी पहुंच गए। यहां पर जर्मनी की युवती साध्वी के कपड़े पहने मिली। उसने अपना पूर्व नाम मिर्जाम क्रेटज बताया। अब योगिनी उदयनाथ पार्वती नाम रख लिया है। उसके साथ हरियाणा के जींद स्थित राजगढ़ ढोबी निवासी बाबा बाल योगी कर्णनाथ रहते हैं।
– कई साल से साधु के साथ रह रही थी युवती
एसओ कुलदीप दीक्षित ने बताया कि जर्मनी की युवती मिली है। उसके वीजा की अवधि समाप्त हो गई थी। उसने वीजा अवधि बढ़ाने के लिए आवेदन किया हुआ है। वह कई साल से साधु के साथ है। उन्हें अपना गुरु मानती है। युवती को दिल्ली स्थित दूतावास में भेज दिया गया है। उसने किसी तरह की परेशानी भी नहीं बताई।
– 19 अक्तूबर को खत्म हुई वीजा अवधि
एसओ कुलदीप दीक्षित ने बताया कि युवती ने अपना वीजा और पासपोर्ट दिखाया। वीजा 21 अक्तूबर 2019 से 19 अक्तूबर 2020 तक था। इसकी अवधि समाप्त हो चुकी है। बाबा कर्णनाथ से एक साल पहले नेपाल के काठमांडू में मिली थी। तब दोनों में बातचीत होने लगी। यहां पर बाबा ओमनाथ का स्थान है। युवती पांच साल से बाबा कर्णनाथ से दीक्षा लेने के बाद उन्हीं के साथ रह रही है। काठमांडू से दोनों पहले वाराणसी आए। इसके बाद हरियाणा गए। यहां से वापस वाराणसी चले गए। लॉकडाउन में वहीं पर रुक गए। आठ दिन पहले आगरा आए थे।
-गांधी नगर के मंदिर में बिगड़ गई थी हालत
आगरा आने के बाद युवती और साधु गांधी नगर स्थित हंसना भैरव मंदिर में तीन दिन रुके थे। यहां पर युवती को फूड प्वाइजनिंग हो गई थी। इस पर चिकित्सक को दिखाया। पांच दिन पहले बाबा के साथ उनकी शिष्य आंवलखेड़ा निवासी अभय शर्मा के यहां पहुंची। अभय ने आंवलखेड़ा स्थित विक्रांत एकेडमी की छत पर बने कमरे में रुकवा दिया। अब वह काठमांडू जाना चाहती है। हालांकि पुलिस ने दूतावास भेजा है।