– डीजीपी ने लिया था मामले पर संज्ञान

-एसपी ने की करवाई, डीएसपी को दिए जांच के आदेश।

बिहार(सुपौल)- ओमएक्सप्रेस ब्यूरों-गोलीबारी के शिकार एक दवा व्यापारी को ही हाजत में बंद कर छोड़ने के एवज में 25 रुपये लेने के आरोप में पुलिस अधीक्षक सुपौल मनोज कुमार ने त्रिवेणीगंज थानाध्यक्ष सुधाकर कुमार को निलंबित कर दिया हैं।

क्या था मामला…..

बताया जाता है कि थाना क्षेत्र के डपरखा कॉलोनी चौक स्थित प्रताप मेडिकल के मालिक गोपेश कुमार पर शनिवार की देर रात अज्ञात अपराधी ने गोलीबारी की। पीड़ित व्यापारी ने घटना की सूचना थानेदार सुधाकर कुमार के मोबाइल पर दी। कुछ देर में गस्ती दल पहुंच कर जख्मी दवा व्यापारी को जीप में बैठाकर अस्पताल ले गई थी। जहां प्रार्थमिक उपचार के बाद पुलिस पीड़ित को थाने में ले आई। थानेदार ने दवा व्यपारी गोपेश को गाली गलौज करते हुए हाजत में बंद कर दिया था।बाद में परिजन के अनुनय विनय पर छोड़ने के एवज में 25 हजार रुपये की माँग की गई थी। परिजनों द्वारा तत्काल रुपये नहीं होने पर बाहन चालक रवींद्र साह दवा व्यपारी को पुलिस जीप से रविवार अहले सुबह चार बजे उनके दुकान पर जाकर दुकान खुलवाकर 15 हजार रुपये लिए और 10 हजार सुबह पहुचाने को कहा गया था। यह सारी कार्यबाही दुकान में लगे सीसीटीवी कैमरों में कैद हो गई थीं। उसके बाद पीड़ित दवा व्यवसायी ने मामले की शिकायत डीजीपी से की थी। डीजीपी ने संज्ञान लेते हुए कार्यबाही का आश्वासन दिया था।

– सूचक के साथ दुर्व्यवहार करना, साहब के लिए नए कारनामें नहीं

अपने काले कुकृत्य के लिए चर्चित त्रिवेणीगंज पुलिस के लिए सूचक पर हाथ साफ कर हाजत में डालना कोई नहीं बात नहीं हैं। साहब इससे पूर्व भी एक फौजी के बेटे की पैसे लूट मामले में उल्टे ही पीड़ित फौजी के बेटे को पकड़ लिया था, जब बेटे की गुनाह पूछने आए फौजी को साहब ने मारपीट कर सलाखें के पीछे भेजना भी साहब के नाम हैं। यहीं नहीं लालपट्टी स्थित एक घर में शराब रहने की सूचना पुलिस को देने पर एक सूचक को महंगा पर गया था। पुलिस ने उल्टे ही सूचक को गिरफ्तार कर न्यायिक हिरासत में सुपौल भेज दिया था। ईस तरह से कई अन्य मामले में साहब अपने अजब- गजब कारनामें को लेकर सुर्खियां में बने हुए थे। थानाध्यक्ष के ईस आचरण से न केवल अनुशासन भंग हुआ बल्कि आमजनों में पुलिस की छवि धूमिल और दागदार हुई हैं।