– दिलचस्प बनी बीकानेर की राजनीति, विधायक मेघवाल प्रमुख के लिए किसको बनाएंगे दावेदार, पत्नी या बेटी

बीकानेर में पंचायत समिति चुनाव के दौरान कांग्रेस और भाजपा दोनों में परिवारवाद हावी रहा।

इस दौरान कांग्रेस का परिवारवाद जीत गया जबकि भाजपा कार्यकर्ताओं को शायद यह रास नहीं आया। खाजूवाला से कांग्रेस विधायक गोविन्दराम मेघवाल जहां अपने परिवार के तीन सदस्यों को चुनाव में जीत दिलाने में सफल रहे, वहीं भाजपा के केंद्रीय राज्यमंत्री अर्जुनराम मेघवाल अपने पुत्र को जीत नहीं दिला पाये। दरअसल, जिला परिषद सीट के लिए अर्जुनराम के पुत्र रविशेखर के सामने गोविन्दराम ने अपनी पत्नी आशा देवी को मैदान में उतारा था, आशादेवी ने मंत्री पुत्र रविशेखर मेघवाल को 2783 मतों से हरा दिया। दोनों के बीच कड़े मुकाबले की उम्मीद की जा रही थी लेकिन ऐसा नहीं हो सका। लंबे अंतर से मिली यह हार भाजपा के लिए करारा झटका है।

उधर, जिला परिषद के लिए ही गोविन्दराम की बेटी सरीता चौहान भी जीत गई।

सरीता पहले खाजूवाला पंचायत समिति की प्रधान रह चुकी है। उसने भी जिला परिषद सीट के लिए जीत हासिल कर ली है। अब देखना यह है कि गोविन्दराम अपनी बेटी को प्रमुख के लिए आगे बढ़ाते हैं या फिर पत्नी को। दरअसल, सरिता चौहान राजनीति में काफी सक्रिय है और क्षेत्र में सरीता का प्रभाव बढ़ता जा रहा है। यह जीत भी सरीता के प्रयासों का नतीजा है।

उधर, गोविन्द मेघवाल के बेटे गौरव चौहान ने भी पूगल पंचायत समिति सदस्य के रूप में जीत दर्ज कर ली है।

गौरव चौहान को प्रधान की सीट के लिए दावेदार माना जा रहा है। यह भी संभव है कि जिला प्रमुख सीट के लिए गोविन्द राम पूगल में कोई समझौता कर लें। फिलहाल उनका दावा बीकानेर जिला परिषद, खाजूवाला, पूगल पंचायत समिति पर है।