– मामले में एसओजी को मिले दो विधायकों के मोबाइल नम्बर
– पुलिस का दावा : तेजी आयेगी जांच में
जयपुर। प्रदेश में विधायकों की खरीदफरोख्त मामले की जांच में जुटी एसओजी ने एफआईआर दर्ज करने के बाद दोमोबाइल नंबरों का पता लगाया। मोबाइल
नंबर कुशलगढ़ विधायक रमीला खडिया तथा पूर्व मंत्री महेन्द्र जीत मालवीय के हैं।जिनके आधार पर आगे पड़ताल होगी। एसओजी के इंस्पेक्टर विजय ने सर्विलांससे प्राप्त रिकार्डिंग को सुना। जिससे सरकारगिराने की कोशिशों के संकेत मिले। दावाकिया गया कि एक शख्स विधायक खडिया
को कह रहा है कि कांग्रेस के विधायकों कोतोडऩे 25 करोड़ व निर्दलीयों के लिये 20 करोड़ मेंबात हुई है। इसके आधार पर आगेपूछताछ की जायेगी।
एक महिला विधायक , एक पूर्वमंत्री-मौजूदा विधायक को फोन सूत्रों के मुताबिक इन दोनों व्यक्तियों ने एक महिला विधायक और एक पूर्व मंत्री-मौजूद विधायक को फोन फोन किया था। इन दोनों विधायकों से तालमेल बैठाने की बात की
और बाद में फोन करने वाले लोगों ने अपनेबॉस को रिपोर्ट दी है। कहा कि पूर्व मंत्री और एक महिला विधायक राजी हो गए हैं।
हालांकि अभी तक एसओजी ने किसी केनाम उजागर नहीं किए है। अलबत्ता दोनोंविधायक आदिवासी क्षेत्र से आते हैं।
फिलहाल एसओजी पूरे मामले की जांच कर ही है। गौरतलब है कि महेश जोशी ने राज्यसभा चुनाव के दौरान पुलिस महानिदेशक, एसीबी से एक आधिकारिकशिकायत की थी और उन बीजेपी कार्यकर्ताओं के खिलाफ सख्त कार्रवाई की
मांग की थी, जो धनबल के जरिए निर्दलीयविधायकों को लुभाने की कोशिश कर रहे थे।
राजस्थान में सरकार कोअस्थिर करने की कोशिशमहेश जोशी ने डीजी कि एसीबी कोसंबोधित अपने पत्र में कहा था, हमें अपने
विश्वस्त सूत्रों से पता चला है कि मध्यप्रदेश,गुजरात, कर्नाटक की तर्ज पर बीजेपी,कांग्रेस के विधायकों के साथ ही हमारी
सरकार को समर्थन दे रहे निर्दलीय विधायकों को लालच देकर राजस्थान मेंसरकार को अस्थिर करने की कोशिश कर
रही है। वहीं इससे पहले आज मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के खिलाफ भाजपा विधायक अशोक लाहोटी, सुभाष पूनिया,
रामलाल शर्मा और निर्मल कुमावत ने विशेषाधिकार हनन का आरोप लगाया है।विधायकों ने इसको लेकर विधानसभा सचिव को पत्र सौंपा है। इस पर नेता
प्रतिपक्ष गुलाबचंद कटारिया के भी हस्ताक्षर है। आरोप में मुख्यमंत्री के 35 करोड़ वाले
बयान को कोट किया गया है। विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष कटारिया के कक्ष में एक
बड़ी बैठक भी हुई है। उधर लोढ़ा ने शिकायत में कहा है कि सतीश पूनिया ने आरोप लगाया था कि कांग्रेस की बाड़ेबंदी के दौरान 23 विधायकों को वोट के बदले
खान, रिको प्लॉट देने और कैश ट्रांजैक्शनसे लाभान्वित किया गया है।
21 जून को दी थी शिकायत दरअसल, कांग्रेस सरकार को
समर्थन दे रहे निर्दलीय संयम लोढ़ा ने पूनिया के खिलाफ विशेषाधिकार हनन की शिकायत 21 जून को विधानसभा में दी
थी। विधानसभा सचिवालय ने अध्यक्ष के समक्ष फाइल पुटअप किया था। ऐसे में अब दोनों ही मामलों में विधानसभा अध्यक्ष
सीपी जोशी को फैसला करना है।