बीकानेर, । नगर के 535वें स्थापना दिवस पर जिला प्रशासन, नगर विकास न्यास व राव बीकाजी संस्थान द्वारा सुदर्शन कला दीर्घा में आयोजित तीन दिवसीय चित्रकला प्रदर्शनी का रविवार को समापन हुआ। अंतिम दिन अनेक लोगों ने इसका अवलोकन किया। समापन कार्यक्रम के मुख्य अतिथि राजस्थान ललित कला अकादमी के सचिव डॉ रजनीश हर्ष ने कहा कि चित्रकार को अपना काम पूरी तन्मयता और विषय को ध्यान रखते हुए करना चाहिए। उन्होंने कहा कि ऐसे कार्यक्रमों से युवा चित्रकारों को प्लेटफार्म मिलेगा।
विशिष्ठ अतिथि वरिष्ठ चित्रकार हरि गोपाल सन्नू हर्ष ने कहा कि चित्रकारी एक साधना है। बीकानेर के अनेक चित्रकारों ने शहर का नाम रोशन किया है। युवा पीढ़ी इनसे सीखे और इस परंपरा को आगे बढ़ाए।
समारोह अध्यक्ष विद्या सागर आचार्य ने बीकानेर के यह चित्रकार भविष्य में शहर का प्रतिनिधित्व करेंगे। आत्माराम भाटी ने स्वागत उद्बोधन दिया। इस दौरान सह संयोजक डॉ. मोहम्मद फारूक, रामलाल सोलंकी, अभिषेक आचार्य, कुमार भादानी, प्रहलाद सिंह मार्शल ने मौजूद रहे। संचालन इरशाद अज़ीज़ ने किया। आभार डॉ मोहम्मद फारूक ने जताया।
इनकी पेंटिंग की गई प्रदर्शित
प्रदर्शनी में मोना सरदार डूडी की कुरेचन कला, धर्मा स्वामी की मॉडर्न आर्ट, राम कुमार भादानी की सुनहरी कलम उस्ता आर्ट, कमल किशोर जोशी की किकेटेम्परि रियलिजम, मिठू मेहरा की पीपल आर्ट, आकाश स्वामी के पेंसिल स्केच, गणेश रंगा की मंडला कला, प्रिया मारू की केटेम्परि आर्ट, मुस्कान नाहटा, रवि उपाध्याय, चारु सामसुखा, संगीता,फरा मुगल,भरत जोइया और नवीन आचार्य की पेंटिंग दिवसीय प्रदर्शनी में दर्शकों के अवलोकन के लिए प्रदर्शित की गई।