नोखा शहर से गुजरने वाली लेफ़्ट आउट पोर्शन की 14 किलोमीटर नेशनल हाइवे न 62 सड़क का पुन: निर्माण करवाने व स्वीकृत नोखा बायपास का कार्य जल्द शुरू करवाने की मांग मुख्यमंत्री अशोक गहलोत से पत्र लिख कर रामसिंह चरकड़ा ने की है । पत्र में लिखा गया है कि  अजमेर। बीकानेर नेशनल हाईवे 62 व जोधपुर बीकानेर की एक मात्र नेशनल हाइवे 62 सड़क जो नोखा शहर से होकर गुजरती है । उक्त नेशनल हाइवे 62 सड़क पीपीपी मोड पर अजमेर से बीकानेर तक बननी है जिसका नागौर से अजमेर तक का कार्य पूर्ण हो चुका लेकिन नागौर से बीकानेर तक काफी जगह सड़क अधूरी पड़ी है।

इस प्रोजेक्ट में नोखा शहर बायपास प्रस्तावित होने के कारण ग्राम चरकड़ा से नोखा शहर व नोखा गाँव तक 14 किलोमीटर सड़क लेफ़्ट आउट पोर्शन के रूप में एन एच ऐ आई को ही पुन: बनानी है । यह 14 किलोमीटर सड़क अब पूर्णरूप से टूटी और उखड़ी हुई है जिसमें शहर के अंदर रेलवे स्टेशन के सामने व चरकड़ा में बड़े बड़े गड्डे हो गये हैं लगातार दुर्घटनाएं हो रही है व कभी भी बड़ी सड़क दुर्घटना हो सकती है इस सड़क का पिछले कई वर्षों से डामरीकरण नहीं हुआ है । उक्त सड़क के पेच वर्क भी लगातार हल्का किया गया है ।

जिसमें बड़े बड़े गड्डे हर बार छोड़ दिये गए अब उक्त सड़क पूरी तरह से उखड़ चुकी है जो पेच वर्क से ठीक किया जाना संभव नहीं है। नेशनल हाइवे होने के कारण व जोधपुर बीकानेर एंव अजमेर बीकानेर की महत्वपूर्ण इस सड़क पर यातायात भी भारी संख्या में चलता है। इसके बावजूद पीडब्लूडी नेशनल हाइवे ऑथोरिटी इस सड़क के पुन: निर्माण में रूचि नहीं ले रहे । इस सड़क निर्माण हेतु जिला सतर्कता समिति में प्रकरण दर्ज होने पर वर्ष 2018 में पीडब्ल्यूडी एएच द्वारा 15 करोड़ 60 लाख का प्रस्ताव बना कर एन एच ए आई को भिजवाया गया था लेकिन तत्कालीन पीडब्ल्यूडी मंत्री व अधिकारियों के साथ दिल्ली में एन एच ए आई की हुई बैठक में इस सड़क के लेफ़्ट आउट पोर्शन के लिये उस वितीय वर्ष 2018 में बजट स्वीकृति नहीं देने का निर्णय किया गया है । जिससे पिछले वर्ष इस सड़क का पुन: निर्माण नहीं हो पायेगा ।

चरकड़ा ने पत्र के माध्यम से बताया कि बीकानेर से अजमेर तक कि यह सड़क जेवीआर कंपनी को टोल रोड़ के रूप में पीपीपी मोड पर निर्माण के लिये दी गई थी जिस पर पिछले 3 साल से काम बंद पड़ा है जिसकी वजह से नोखा शहर में प्रस्तावित बायपास का निर्माण भी अटक गया है लगातार इस विषय को विभाग स्तर पर उठाने के बावजूद अब तक कोई समाधान नहीं निकल सका है ।

जिससे ग्रामीण व नोखा शहर के लोगों को भारी ट्रैफिक जाम व तकलीफों का सामना करना पड़ रहा है। वर्षा के इस मौषम में यह सड़क बिलकुल जर्जर हो चुकी है। रामसिंह ने मुख्यमंत्री से पत्र द्वारा मांग की है कि नोखा शहर से निकलने वाली लेफ़्ट आउट पोर्शन की 14 किलोमीटर सड़क के पुन: निर्माण के प्रस्ताव को स्वीकृत करवाकर नोखा बायपास का निर्माण पुन: जल्द से जल्द शुरू करवावें ताकि नोखा क्षेत्र के लोगों को लाभ मिल सके ।

बड़ी दुर्घटनाओ की आशंका

नोखा कस्बे को दो भागों में विभाजित करती नेशनल हाईवे62 पर यातायात की भरमार रहती है हाइवे पर कालेज, स्कूल, बैंके, हॉस्पिटल, रेलवे स्टेशन, बस स्टेण्ड सहित मार्केट स्थापित है जिसके चलते पैदल व दुपहिया, तिपहिया और छोटी बड़ी गाडिय़ो का आवागमन हर समय रहता है । सड़क पर बड़े बड़े गड्डे हो जाने से दुर्घटनाओं की आशंका हर समय बनी रहती है । और साथ ही छोटी गाडिय़ा तो गड्डो में कई बार फंस जाती है जिससे गाडिय़ों में नुकसान भी हो जाता है । अनेक बार कई संस्थाओं ने यक़त सड़क को सही करवाने की मांग प्रशासन के आला।अधिकारियों से की परन्तु खस्ता हाल इस सड़क को सुधार के कोई प्रयास नही हुवे ।

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