इन्द्रा व्यास की कविताओं में आम आदमी की पीड़ा: जोशी


बीकानेर/ लालकवि साहित्योत्थान समिति एवं जागरूक महिला मंच के संयुक्त तत्वावधान में प्रख्यात सामाजिक कार्यकर्ता एवं साहित्यकार इन्द्र व्यास की दो हिन्दी-राजस्थानी कविता संग्रहों का लोकार्पण किया गया । कार्यक्रम की अध्यक्षता वरिष्ठ साहित्यकार कवि- कथाकार राजेन्द्र जोशी थें तथा लोकार्पण समारोह की मुख्य अतिथि वरिष्ठ कवयित्री प्रमिला गंगल रही।
लोकार्पण समारोह के संयोजक अविनाश व्यास ने बताया कि इन्द्रा व्यास के राजस्थानी कविता संग्रह “लुगाई री पीड़” एवं हिन्दी कविता संग्रह “खामोश आवाजें” को कलासन प्रकाशन बीकानेर ने प्रकाशित किया है । इससे पूर्व भी इन्द्रा व्यास की तीन पुस्तकें प्रकाशित हो चुकी है ।
लोकार्पण समारोह की अध्यक्षता करते हुए कवि- कथाकार राजेन्द्र जोशी ने कहा कि इन्द्रा व्यास गत दो दशकों से भी अधिक समय से लेखन कार्य में संलग्न है । जोशी ने कहा कि व्यास की कविताएं लोक से निकलती है, वे विषय की गहराई तक जाती है , उन्होंने कहा कि वें लोक विचरण करती हुई आम अवाम की आवाज को अपनी रचनाओं के माध्यम से पाठकों को परोसती है । जोशी ने कहा कि इन्द्रा व्यास अपना मुहावरा खुद बनाते हुए समाज में घटित होने वाली बात को विस्तार देती है । जोशी ने कहा कि इन्द्रा व्यास को भारतीय दर्शन एवं लोक की जानकारी है ऐसे में कवियत्री कविता में समसामयिक दृष्टि से वे आम आदमी की पीड़ा को टटोलती प्रतीत होती हैं।
जोशी ने कहा कि इन्द्रा व्यास की कविताएं भाषा और विषय के अनुसार शानदार है, उनके भावों और विचारों के भार को वहन करने में पूर्ण करने में पूर्ण समर्थ है, जोशी ने कहा कि इन्द्रा व्यास की कविताएं इस समय की परिपक्व रचनाएँ हैं ।
जोशी ने कहा कि इन्द्रा व्यास के हिन्दी-राजस्थानी भाषा में प्रकाशित संग्रहों में प्रेम और मानवीय संबंधों के सूक्ष्म अहसासों का सहज संवेदनशील ईमानदार प्रयास है ।
कार्यक्रम की मुख्य अतिथि वरिष्ठ गीतकार प्रमिला गंगल ने कहा कि इन्द्रा व्यास की कविताएं समाज को सोचने का अवसर देती है उनकी कविताओं के विषय अनुभव से शब्दों में पिरोया गया है । उन्होंने कहा कि इन्द्रा व्यास एक सामाजिक कार्यकर्ता होने के कारण उनकी रचनाएँ सामाजिक सरोकारों से ओतप्रोत है ।
लोकार्पण समारोह में खामोश आवाजें हिन्दी कविता संग्रह पर वरिष्ठ लेखिका डॉ चेतना आचार्य ने पत्र वाचन करते हुए कहा कि इन्द्रा व्यास एक सर्मथ कवयित्री है उनकी कविताओं के विषय पाठकों की दैनिक दिनचर्या से जुड़े हैं ।
राजस्थानी कविता संग्रह लुगाई री पीड़ पर युवा कवयित्री-आलोचक डॉ रेणुका व्यास ने पत्र वाचन करते हुए कहा कि इन्द्रा व्यास को राजस्थानी भाषा साहित्य एवं संस्कृति के क्षेत्र में अत्यधिक जानकारी होने के कारण वे समाज में व्याप्त विभिन्न विषयों को अपनी रचनाओं के माध्यम से आमजन को आगाह करती है ।
लोकार्पण समारोह में कवयित्री इन्द्रा व्यास ने अपनी रचना प्रक्रिया की विस्तार से जानकारी देते हुए हिन्दी और राजस्थानी की चुनिंदा कविताओं का वाचन किया । प्रारंभ में स्वागत भाषण करते हुए साहित्यकार मनीषा आर्य सोनी ने इन्द्रा व्यास के व्यक्तित्व और कृतित्व पर विस्तार से प्रकाश डालते हुए संगीतमय प्रस्तुति दी। कार्यक्रम में वरिष्ठ चित्रकार सनू हर्ष का सम्मान किया गया ।
कार्यक्रम का संचालन अविनाश व्यास ने किया तथा अंत में साहित्यकार डॉ कृष्णा आचार्य ने आभार प्रकट किया । लोकार्पण समारोह में साहित्यकार सरल विशारद, मधु आचार्य आशावादी , इरशाद अजीज , अभिषेक आचार्य, विजय लक्ष्मी आचार्य, मोनिका गौड़, प्रभा भार्गव, सहित अनेक महानुभावों ने शिरकत की ।