बीकानेर, 02 जुलाई। कोरोनावायरस संक्रमण के प्रसार को रोकने के लिए अतिरिक्त जिला मजिस्ट्रेट (नगर) सुनीता चैधरी ने गुरूवार को देर रात एक आदेश जारी कर शहर के 4 थाना क्षेत्र में दंड प्रक्रिया संहिता 1973 की धारा 144 के तहत निषेधाज्ञा जारी की गई है।
अतिरिक्त जिला मजिस्ट्रेट सिटी ने थाना गंगाशहर के अंतर्गत पाबूचैक से नोखा रोड पर मकान कैलाश गहलोत से मकान भीखाराम तक, मकान मोहन लाल से मकान ओम प्रकाश मेघवाल तक के क्षेत्र, जी नगर मौहल्ला गोपेश्वर बस्ती मकान छगन लाल मेघवाल से मकान शान्ति लाल तक, मकान कुलदीप आसोर से मकान श्रवण मेघवाल तक के क्षेत्र में, संतोषी माता मंदिर के क्षेत्र में मकान रतनचंद नाहटा से बाबा गौतम टेन्ट हाउस से हनुमानजी मंदिर तक का क्षेत्र में निषेधाज्ञा लागू की है।
इसी प्रकार से थाना सदर के अंतरर्गत पुरानी गिन्नाणी क्षेत्र में मकान मनोज भाटी से रामदेव मंदिर तक, मकान मनोज भाटी से मकान लक्ष्मण भाटी तक के क्षेत्र में, कोरियों का मौहल्ला के क्षेत्र मंे मकान राजेन्द्र कुमार से मकान मोहन लाल सिसोदिया तक के क्षेत्र में, भुट्टो का बास क्षेत्र मंे मेजर पूर्ण सिंह का डेरा से ठाकुर लक्ष्मण सिंह के मकान तक में, रथखाना क्षेत्र के इवीएम/वीवी पीटी एम वेयर हाउस से मौर्य निवास तक का क्षेत्र में निषेधाज्ञा लगाई गई हैं।
थाना कोटगेट के अंतर्गत हीरालाल माॅल के पास पाश्र्वनाथ प्लाजा में निषेधाज्ञा लगाई गई है।
अतिरिक्त जिला मजिस्ट्रेट (नगर) सुनीता चैधरी ने बताया कि इस क्षेत्र में रहने वाले नागरिकों के स्वास्थ्य की सुरक्षा और शांति बनाए रखने के लिए दंड प्रक्रिया संहिता 1973 की धारा 144 के तहत निषेधाज्ञा जारी की गई है। आदेशानुसार वायरस के संक्रमण की गंभीरता को देखते हुए इस क्षेत्र को जीरो मोबिलिटी क्षेत्र घोषित करते हुए आने-जाने पर पूरी तरह से प्रतिबंध लगाया गया है। इस क्षेत्र को कंटेनमेंट जोन घोषित किया गया है।
अतिरिक्त जिला मजिस्ट्रेट ने बताया कि निषेधाज्ञा के दौरान क्षेत्र के बीमार और चिकित्सा की आपात आवश्यकता रखने वाले व्यक्तियों पर प्रतिबंध लागू नहीं होगा। क्षेत्र में आने वाले समस्त धार्मिक स्थल आदि में लोगों के आने-जाने पर पूरी तरह प्रतिबंध रहेगा, लेकिन धार्मिक स्थल की साफ-सफाई और रख-रखाव के लिए अधिकतम दो व्यक्ति अनुमति के साथ निर्धारित समय के लिए प्रवेश कर सकेंगे।
चिकित्सा विभाग की टीम करेगी स्क्रीनिंग
पुलिस विभाग द्वारा निर्धारित एन्ट्री पोईन्ट्स पर चिकित्सा विभाग द्वारा टीम नियुक्त की जाएगी, जिसके द्वारा यह सुनिश्चित किया जाएगा कि बिना स्क्रीनिंग के कोई भी व्यक्ति इस क्षेत्र में प्रवेश नहीं करें और ना ही क्षेत्र से बाहर निकलें।