

जयपुर। फैडरेशन ऑफ राजस्थान ट्रेड एवं इंडस्ट्री (फोर्टी) के अध्यक्ष सुरेश अग्रवाल अनुसार केंद्रीय मंत्री निर्मला सीतारमण द्वारा आत्मनिर्भर भारत राहत पैकेज के तहत सब्सिडी लिंक होम लोन स्कीम (प्रधानमंत्री आवास योजना) की अवधि एक साल बढ़ाकर मार्च 2021 तक करने एवं रेंटल हाउसिंग का नया वर्टीकल जोड़ना यह स्वागत योग्य कदम है। इससे हाउसिंग सैक्टर में निवेश के साथ रोजगार के अवसरों का सृजन होगा। इस स्कीम का फायदा उन लोगों को मिलेगा जिनकी सालाना इनकम 6-18 लाख के बीच में है। यह बूस्टर डोज इन्वेस्टर सेंटीमेंट को बढ़ाने का काम करेगा। इससे अफोर्डेबल घरों की उपलब्धता बढ़ेगी। इससे रोजगार के अवसर बढ़ने के साथ स्टील, लोहा और अन्य कंस्ट्रक्शन प्रोडक्ट्स की मांग बढ़ेगी।
फोर्टी अतिरिक्त महामंत्री विनय जोशी ने बताया कि केंद्र सरकार ने पैकेज के तहत एक नया वर्टीकल यानि रेंटल हाउसिंग (किराये के घरों) को जोड़ दिया गया है। इससे जो लोग ट्रांजिट पर रहते हैं या नौकरी व अन्य निजी कार्य के दौरान बार-बार ट्रांसफर होता रहता हैं, जिनकी सालाना आय 3 लाख से 18 लाख है, उनके लिए हर प्रकार के घर बनाएं जाएंगे। इसके तहत लेबर हाउसिंग, रेंटल हाउसिंग, ट्रांजिट होम, हॉयर परर्चेज मॉडल और रेंटल टू ऑनरशिप मॉडल डवलप होंगे। योजना के तहत बिल्डर का काम घर बनाना व किराये पर देना यानि निवेशक घरों को खरीदकर के किराये पर दे पाएंगे। इससे रियल एस्टेट की तरफ इन्वेस्टमेेंट बढ़ेगा चूंकि ये बड़े घर नहीं होते हैं। इनकी कीमतें सीमित होती है। अब निवेशक बड़े घरों के बजाय छोटे घरों में टुकड़ों में निवेश करेंगे और जरुरत पड़ने पर छोटे घरों को बेचकर लिक्विटिडी की समस्या का समाधान कर सकेंगे।


फोर्टी चीफ सेक्रेटरी, ऑफिस एडमिनिस्ट्रेशन गिरधारीलाल खण्डेलवाल ने बतलाया कृषि के बाद रियल एस्टेट का जीडीपी में बड़ा योगदान है। सरकार के इस निर्णय से अफोर्डेबल हाउसिंग को गति मिलेगी।


साथ ही राज्य सरकार से आग्रह किया कि इस विषय पर त्वरित गति से कार्रवाई कर पॉलिसी बनाकर उसे लागू करे जिससे इस पर तुरंत काम शुरू किया जा सके।
