-वर्ष 2022 चर्तुथ राष्ट्रीय लोक अदालत


जयपुर,( दिनेश शर्मा “अधिकारी “)। राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण नई दिल्ली के सावधान में राजस्थान राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण द्वारा “ वर्ष 2022 की चतुर्थ राष्ट्रीय लोक अदालत “ राजस्थान प्रदेश के समस्त अधीनस्थ न्यायालय अधिकरण आयोग सहित राजस्व न्यायालयों में आयोजन किया गया।
माननीय राजस्थान उच्च न्यायालय मुख्य पीठ राजस्थान एवं समिति, जोधपुर द्वारा राष्ट्रीय लोक अदालत का शुभारम्भ न्यायाधिपति वीरेंद्र कुमार द्वारा किया गया। इस कार्यक्रम में माननीय न्यायाधिपति माननीय पति राजस्थान सेवानिवृत जिला एवं सेशन न्याय अतिरिक्त महाि रजिस्ट्री एवं राजस्थान राज्यकरण के अधिकारीगण, राजस्थान उच्च न्यायालय बार एसोसिएशन के पदाधिकारीगण एवं विद्वान साथ-साथ एवं विधि के विद्यार्थीगण भी उपस्थित रहे।
माननीय न्यायाधिपति श्री बीरेन्द्रकुमार द्वारा अपने स्वागत एवं परिचालको लोक अदालत हेतु गठित सदस्यगण पदाधिकारीगण आमजन का स्वागत करते हुए बताया गया कि आमजन इन लोक अदालत के माध्यम से कम समय में अधिक प्रकरणों का निस्तारण किया जा सकता है। इस प्रक्रिया को प्रकरणों के प्रभावी निस्तारण हेतु एक कारगर माध्यम भी बताया गया अधिक से अधिक लोगों को शामिल कर राष्ट्रीय लोक अदालत को सफल बनाने की अपील भी की गई।
सदस्य सचिव राजस्थान राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण, जयपुर दिनेश कुमार गुप्ता ने बताया कि लिटिन्स को लोक अदालत तक सुलभ कराने हेतु माननीय न्यायाधिपति एम. एम. वास्तव न्यायाधीश, राजस्थान उच्च न्यायालय एवं कार्यकारी अध्यक्ष महोदय की प्रेरणागत लोक अदालत में “ रासा 22 “ ऑन लाईन लोक अदालत डिजिटल प्लेटफोर्म का अनुप्रयोग कर लोक अदालत को डिजिटल स्वरूप प्रदान किया गया है आमजन के लिये और सरल बनाया गया है। साथ ही इस बार लोक अदालत में प्रकरण रखने हेतु “ न्याय रो साथी “ मोबाईल एप को भी जनसाधारण के लिए सुलभ कराया गया है।
इस राष्ट्रीय लोक अदालत प्रणाली के टेलीफोन, बिजली- पानी के बिल, मोटर वाहन चालक दुर्घटना ,पंजीकृत निर्माण श्रमिकों के लिये चलाई जा रही कल्याणकारी योजनाओं जन उपयोगी संबंधित प्रकरणों के साथ-साथ नागरिक एवं किसी विभाग के मध्य सभी प्रकार के विवादों को भी रखा गया है। विभिन्न न्यायालयों में पहले से आ रहे रण में धारा 138 परक्रम दिलेख अधिनियम (A) के मामले धन वसूली के मामले मोटर वाहन पालक दुर्घटना के मामले वैवाहिक एवं भरण-पोषण के मामले तलाक को घरेलू हिंसा श्रम एवं नियोजन संबंधित मामले किरायदारी एवं अन्य प्रकृति के सिविल तथा फौजदारी प्रकृति के राजीनामा योगा मामलों को रखा गया।
बैंक एवं वित्तीय संस्थानों के अधिकारियों के लिए विशेष संचालन किया गया। सम्पूर्ण राजस्थान के ग्रामीण एवं शहरी इलाकों में Door-Step काउंसलिंग हेतु विशेष अभियान चलाया । इसके साथ ही जन सामान्य एक लोक अदालत के प्रचार-प्रसार हेतु राजस्थान राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण द्वारा प्रिंट एवं प्रसारण मुख्य चौराहा पर वीडियो प्रसारण पास्टर प्रकाशन एवं मोबाईल से विशेष किया गया है।
वर्ष की इस चतुर्थ राष्ट्रीय लोक अदालत में माननीय राजस्थान उच्च न्यायालय जोधपुर के 308 व जयपुर के 517 प्रकरण सहित सम्पूर्ण प्रदेश में अभूतपूर्व प्रदर्शन करते हुए कुल 20,77,010 प्रकरणों का लोक अदालत की भावना से जरिए राजीनामा निस्तारण किया गया। राजीनामे के माध्यम से निस्तारित प्रकरणों में कुल 8,566,922, 615 /- रुपये की राशि के विवाद सम्मिलित थे। राष्ट्रीय लोक अदालत के माध्यम से निस्तारित प्रकरणों में से सफलतम प्रकरणों की कहानी इस प्रेस नोट के संलग्न है।
