नई दिल्ली,(दिनेश”अधिकारी”)।सीबीआई ने कथित तौर पर देशमुख के खिलाफ भ्रष्टाचार के आरोपों में बॉम्बे उच्च न्यायालय द्वारा आदेशित प्रारंभिक जांच को प्रभावित करने की कोशिश करने के मामले में वकील के खिलाफ एक प्राथमिकी दर्ज कर वकील आनंद डागा को महाराष्ट्र के पूर्व गृह मंत्री अनिल देशमुख के खिलाफ चल रही जांच के सिलसिले में हिरासत में लिया।गिरफ्तारी इस आरोप पर की गई थी कि डागा ने जांच के सिलसिले में सीबीआई के एक कनिष्ठ अधिकारी से एक दस्तावेज हासिल करने के लिए अवैध रूप से रिश्वत दी थी। सीबीआई ने कथित तौर पर देशमुख के खिलाफ भ्रष्टाचार के आरोपों में बॉम्बे उच्च न्यायालय द्वारा आदेशित प्रारंभिक जांच को प्रभावित करने की कोशिश करने के लिए वकील के खिलाफ एक प्राथमिकी दर्ज की। सूत्रों के अनुसार सीबीआई अधिकारियों को संदेह था कि सीबीआई के आंतरिक दस्तावेज के बदले में एक निचले रैंक के अधिकारी को अवैध रूप से रिश्वत दी गई थी।

सीबीआई ने जिस दस्तावेज़ का दावा किया था वह शनिवार को लीक हो गया था, वह प्रारंभिक जांच की एक रिपोर्ट थी जिसे कथित तौर पर देशमुख को क्लीन चिट दे दी गई थी और उसके खिलाफ जांच बंद करने की सिफारिश की गई थी।सीबीआई ने देशमुख के दामाद गौरव चतुर्वेदी और डागा के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज करने से पहले उनसे पूछताछ की।उन्होंने चतुर्वेदी को जाने दिया क्योंकि उन्हें अभी तक मामले में उनकी संलिप्तता नहीं मिली थी। सूत्रों का कहना है कि सीबीआई ने दस्तावेज के लिए डागा के संपर्क में रहने वाले कनिष्ठ अधिकारी सब-इंस्पेक्टर अभिषेक तिवारी को भी गिरफ्तार किया है।