– वाघा सीमा से सीधे गुरुद्वारा श्री ननकाना साहिब ले जाया जाएगा!_
– वीजा पहले 10 दिन का होता था, अब सिर्फ पांच दिन का होगा
चंडीगढ़। श्री गुरु नानक देव जी के 551वें प्रकाश पर्व पर पाकिस्तान जाने वाले भारतीय श्रद्धालुओं पर इस बार कई तरह की बंदिशें होंगी। जिनके तहत इस बार श्रद्धालु न तो लाहौर में ठहर सकेंगे और न ही उन्हें लाहौर के बाजारों में जाकर खरीदारी करने की अनुमति होगी। 27 नवंबर को अटारी-वाघा सड़क सीमा के रास्ते पाकिस्तान जाने वाले इन श्रद्धालुओं को विशेष बसों से सीधे श्री ननकाना साहिब पहुंचाया जाएगा। तीर्थयात्रियों को गुरुद्वारा श्री ननकाना साहिब और उसके आसपास स्थित गुरुद्वारा साहिब में ही जाने की अनुमति होगी। श्रद्धालु गुरुद्वारा श्री ननकाना साहिब में सजाए जाने वाले नगर कीर्तन में शामिल हो सकेंगे। 30 नवंबर को प्रकाश पर्व के धार्मिक समागम के आयोजन के समापन के बाद उन्हें वहीं से एक दिसंबर को वाघा बॉर्डर के रास्ते भारत भेज दिया जाएगा। पीएसजीपीसी के अध्यक्ष भाई सतवंत सिंह ने एक संदेश भेजकर यह जानकारी दी। उन्होंने बताया कि 551वें प्रकाश पर्व पर शामिल होने के लिए शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी, दिल्ली कमेटी सहित उन सभी संस्थाओं को यात्रा का न्योता भेजा गया है, जो सिख श्रद्धालुओं को गुरुद्वारा साहिब के दर्शनों के लिए भेजती हैं। न्योते के साथ यात्रा कार्यक्रम भी भेजे गए हैं। इसमें कहा गया है कि पाकिस्तान आने वाले सभी यात्री अपने साथ कोविड-19 रिपोर्ट लेकर आएं। इस रिपोर्ट की जांच पाकिस्तान वाघा सीमा पर होगी। प्रकाश पर्व के श्री अखंड पाठ साहिब 27 नवंबर को रखे जाएंगे। 30 नवंबर को श्री अखंड पाठ साहिब के भोग के बाद धार्मिक दीवान सजेंगे।
– अब सिर्फ पांच दिन के लिए मिलेगा वीजा
उन्होंने बताया कि पाकिस्तान सरकार ने कोरोना वायरस के बावजूद श्रद्धालुओं की संख्या में कोई भी कमी नहीं की है। पाकिस्तान सरकार तीन हजार भारतीय श्रद्धालुओं को गुरुद्वारा साहिब के दर्शनों के लिए वीजा देगी। पहले यह वीजा दस दिन के लिए दिया जाता था, लेकिन इस बार सिर्फ पांच दिन के लिए ही वीजा दिया जाएगा। पहले श्रद्धालु प्रकाश पर्व समागम में हिस्सा लेने के बाद लाहौर जाते थे और वहां से खरीदारी करके लौटते थे लेकिन इस संगत पर काफी बंदिशें रहेंगी।
– करतारपुर कॉरिडोर खोलने पर नहीं हुआ कोई फैसला
कोरोना वायरस के कारण भारत सरकार ने मार्च से करतारपुर कॉरिडोर के किवाड़ बंद किए हुए हैं। श्री अकाल तख्त साहिब के जत्थेदार ज्ञानी हरप्रीत सिंह सहित गोबिंद सिंह लौंगोवाल सहित कई अकाली नेताओं ने भारत सरकार से करतारपुर कॉरिडोर खोलने के लिए कहा है हालांकि भारत सरकार ने इस पर अभी कोई फैसला नहीं किया है।