Dr VK Paul

OmExpress News / New Delhi / देशभर में कोरोना वायरस से संक्रमित मरीजों की संख्या में लगातार बढ़ोतरी हो रही है। केंद्रीय स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय की ओर से जारी आंकड़ों के मुताबिक, पिछले 24 घंटे में 1684 नए मामले सामने आए हैं और 37 लोगों की मौत हो गई है। Lockdown Decision was Timely

इसके बाद देशभर में कोरोना पॉजिटिव मामलों की कुल संख्या 23,077 हो गई है, जिसमें 17,610 सक्रिय हैं, 4749 लोग स्वस्थ हो चुके हैं या उन्हें अस्पताल से छुट्टी दे दी गई है और 718 लोगों की मौत हो गई है। कोरोना के इस संक्रमण चेन को तोड़ने के लिए पूरे देश में लॉकडाउन है। इस लॉकडाउन के तहत लोगों से घरों में रहने की अपील की गई है। लेकिन क्‍या आप जानते हैं कि अगर देश में लॉकडाउन ना लगाया गया होता तो देश के हालात क्‍या होते।

शुक्रवार को कोरोना संक्रमण पर मंत्रालयों की प्रेस कॉन्‍फ्रेंस के दौरान नीति आयोग के सदस्‍य और इम्‍पावर्ड ग्रुप 1 के चेयरमैन डॉ. वीके पॉल ने इस बारे में जानकारी दी। उन्‍होंने बताया कि इस समय देश में कोरोना वायरस संक्रमण के मामलों की संख्‍या 23,077 है, लेकिन अगर देश में लॉकडाउन ना लगा होता तो इस समय यह संख्‍या 73000 होती।

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डॉ पॉल ने कहा, ‘हम लोगों का विश्‍लेषण यह जाहिर करता है कि देश में लॉकडाउन के कारण कोरोना वायरस संक्रमण के दोगुने होने की दर में कमी आई है। साथ ही कई जानें भी बची हैं।

वायरस संक्रमण के मामले दोगुने होने का समय 3 दिन मापा गया था

ऐसे में लॉकडाउन लागू करने का निर्णय सही समय पर लिया गया है।’ आपको बता दें कि शुक्रवार को सरकार के मंत्रालयों की ओर से हुई प्रेस कॉन्‍फ्रेंस में जानकारी दी गई कि देश में 23 मार्च से पहले कोरोना वायरस संक्रमण के मामले दोगुने होने का समय 3 दिन मापा गया था। इसके बाद लॉकडाउन लागू किया गया, जिसके परिणाम बाद में दिखने शुरू हुए। Lockdown Decision was Timely

29 मार्च को केस दोगुने होने का समय बढ़कर 5 दिन हो गया। इसके बाद 6 अप्रैल से देश में हर 10 दिन में कोरोना संक्रमण के मामले दोगुने हो रहे हैं। अगर देश में लॉकडाउन ना लगाया गया होता तो आशंका जताई गई है क‍ि इस समय देश में कोरोना के 73,400 केस सामने आ गए होते।